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उत्तर प्रदेशीय प्राथमिक शिक्षक संघ ने मुख्यमंत्री को संबोधित जिला अधिकारी को दीया ज्ञापन

 


शिक्षकों का विभागों द्वारा गोपनीय आख्या मांगे जाने के संबंध में उत्तर प्रदेशीय प्राथमिक शिक्षक संघ ने दिया ज्ञापन

उरई/जालौन। गुरुवार को उत्तर प्रदेशीय प्राथमिक शिक्षक संघ के प्रांतीय नेतृत्व के आवाहन पर जिला अध्यक्ष एवं प्रांतीय कोषाध्यक्ष ठाकुरदास यादव के नेतृत्व में शिक्षकों के हक और सम्मान की लड़ाई में गोपनीय आख्या आदि के विरोध में 22 सूत्री ज्ञापन माननीय मुख्यमंत्री एवं बेसिक शिक्षा मंत्री उत्तर प्रदेश शासन को संबोधित जिलाधिकारी को सौंपा गया। 

इस अवसर पर जनपद के एक सैकड़ा से अधिक शिक्षक व शिक्षामित्र अनुदेशक उपस्थित रहे। जिलाध्यक्ष ठाकुरदास ने अपने संबोधन में कहा कि बेसिक शिक्षा परिषद द्वारा विगत कुछ दिनों से शिक्षकों के प्रति इस प्रकार के नियम कायदे निर्गत किए जा रहे हैं जो सरासर अब व्यवहारिक एवं शोषण के उद्देश्य से परिपूर्ण है। हाल ही में शिक्षकों के मूल्यांकन को लेकर गोपनीय आख्या के लिए फरमान जारी हुआ था इसमें एक कायाकल्प के तहत होने वाले कार्यों के लिए भी शिक्षकों के अंक निर्धारित किया जाना है। जबकि यह कार्य पंचायती राज विभाग द्वारा किए जाते हैं उत्तर प्रदेशीय प्राथमिक शिक्षक संघ ने ऐसे तुगलकी फरमानों के खिलाफ मोर्चा खोला है विद्यालय में प्रधानाध्यापक कंपोजिट ग्रांट से कार्य करता है जिसमें मूलता आवश्यकताओं की पूर्ति कर पाना ही संभव नहीं हो पाता शासन को मूलभूत आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए कार्य कराना चाहिए जबकि आए दिन अध्यापकों के प्रति नकारात्मक आदेशों को निर्गत कर अनावश्यक रूप से शिक्षकों को आंदोलन के लिए बाध्य किया जा रहा है। वार्षिक प्रविष्टि के लिए तय मानक सीधे तौर पर शिक्षक विरोधी हैं और ऐसी दूर व्यवस्था का शिक्षक संघ पुरजोर विरोध करता है उन्होंने इसे काले कानून की संज्ञा दी। इस अवसर पर राम मनोहर पटेल, राघवेंद्र श्रीवास्तव, अनिल गुप्ता, श्रवण निरंजन, नित्यानंद, धर्मेंद्र सिंह चौहान, महेंद्र यादव, जितेन्द्र यादव आकाश द्विवेदी, आफताब आलम, अजय निरंजन, आशीष तिवारी, सिद्धार्थ गौतम, पवन पटेल, अभिषेक द्विवेदी, विवेक गुप्ता, शादाब बैग आदि मौजूद रहे।

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