झोलाछाप डॉक्टरों का व्यापार बढ़ता ही जा रहा है आमजन की जान से कर रहे है खिलवाड़
उमेश चौबे, बम्होरी म. प्र.।हम बात कर रहे हैं रायसेन जिले के सिलवानी तहसील से महज 20 किलोमीटर दूरी पर कस्बा बम्होरी मैं झोलाछाप डॉक्टरों की भरमार है जिसमें से एक पुरेन्द्र मांझी बंगाली डॉक्टर सह पत्नी बाजार के बीचोंबीच बैठकर अपना क्लीनिक एवं अस्पताल चल रहे हैं इन दिनों मौसम परिवर्तन होने के कारण एवं कम बारिश और धूप तेज होने के कारण बीमारियां बहुतायत में हैं तेज बुखार, हाथ पैर दर्द, सिर दर्द, जैसी बीमारियां आए दिन देखने को मिलते हैं जिन का इलाज झोलाछाप डॉक्टर या फिर ऐसा बोलें कि बंगाली डॉक्टर के पास आसानी से मिल जाता है छोला छाप डॉक्टर हाई पावर की दवाई देकर बुखार तो ठीक कर देते हैं लेकिन कहीं ना कहीं एक बड़ी बीमारी का कारण भी बनता है जिसको आम नागरिक नहीं समझ पाते हैं इन भोली वाली गांव की जनता को यह झोलाछाप डॉक्टर या बंगाली डॉक्टर जिनके पास ना तो कोई डिग्री होती है और ना ही शासन से मान्यता प्राप्त कोई सर्टिफिकेट यह सिर्फ अनुभव के आधार पर इलाज करते आ रहे हैं कई बार ऐसी कई जगह ग्रामों में इन झोलाछाप डॉक्टरों के कारण कई सारे नागरिकों की मौत भी हो चुकी है लेकिन स्वास्थ्य विभाग द्वारा कोई शिकंजा नहीं कसा गया है जिसके कारण यह खुलेआम अपने क्लीनिक चलते आ रहे हैं और यह क्लीनिक ही नहीं बल्कि पांच या 10 पलंग वाले अस्पताल में तब्दील हो चुके हैं और खुलेआम आम जनता की जान से खिलवाड़ करते आ रहे हैं ।
जैसा कि हम जानते हैं एक बड़ा से बड़ा डॉक्टर भी एमबीबीएस डॉक्टर या एमडी मेडिसिन डॉक्टर हो वह भी पहले प्राइमरी इलाज में कम पावर की मेडिसिन लिखता है लेकिन यह झोलाछाप डॉक्टर हाई पावर लगभग 500 से 1000 एमजी की दवाई देकर शरीर को एक बहुत बड़ी बीमारी के करीब ले जा रहे हैं जो की कुछ समय के बाद एक बहुत बड़ी बीमारी में तब्दील हो जाते हैं शासन-प्रशासन की अनदेखी के चलते इन झोलाछाप डॉक्टरों का व्यापार खूब फल फूल रहा है और एक एमबीबीएस डॉक्टर से भी ज्यादा इनके क्लीनिक पर भीड़ रहती है और यह अपना व्यापार धड़ल्ले से चला रहे हैं और इन बंगाली डॉक्टर के पास स्वयं का मेडिकल स्टोर होता है मतलब दवाइयां भी यह अपने पास से ही देते हैं और यहां तक ही यह सीमित नहीं है इनके पास हर एक प्रकार की बीमारी का इलाज है चाहे कैंसर हो टीवी हो किसी की किडनी खराब हो गई हो, या फिर ब्लड प्रेशर की बीमारी हो या थायराइड हो सभी प्रकार की बीमारियों का इलाज इनके पास मिल जाता है वह भी बिना किसी पढ़ाई और ना ही कोई डिग्री होने के बावजूद भी यह सभी प्रकार की बीमारियों के स्पेशलिस्ट बनकर बैठे हुए हैं और कई वर्षों से आम जनता की जान से खिलवाड़ करते आ रहे हैं।
अब देखते हैं कि शासन प्रशासन या स्वास्थ्य विभाग किस प्रकार से इन झोलाछाप डॉक्टर से आम जनता को बचा पाते हैं या कोई कार्रवाई की जाती है या एक बार फिर कार्यवाही के नाम पर एक दो क्लिनिक को चेक करके सिर्फ कार्रवाई के नाम पर सिर्फ वाहवाही बटोरते नजर आते हैं
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